NEWS Leaders : एफिल टॉवर से ऊंचा है चिनाब रेलवे पुल, दौड़ने को तैयार है ट्रेन
NEWS Leaders : एफिल टॉवर से ऊंचा है चिनाब रेलवे पुल, दौड़ने को तैयार है ट्रेन
भारतीय रेलवे ने दुनिया के सबसे ऊंचे चिनाब ब्रिज पर सफलतापूर्वक ट्रायल रन पूरा किया। जल्द ही यहां रेल सेवाएं शुरू होंगी.
न्यूज लीडर्स डेस्क
जम्मू – कश्मीर में चिनाब नदी पर दुनिया का सबसे ऊंचे रेलवे पुल चेनाब रेलवे ब्रिज बनकर तैयार हो गया है. इस सिंगल रूट पर जल्द ही ट्रेन सेवा शुरू की जाएगी. उत्तरी रेलवे ने बताया कि चिनाब नदी पर बने दुनिया के सबसे ऊंचे रेलवे पुल से ट्रेन यात्रा जल्द ही शुरू होगी. रामबन जिले के संगलदान और रियासी के बीच बने चिनाब रेल ब्रिज का रविवार को व्यापक निरीक्षण किया.
●》अजूबा पूरा होने की और जल्द दौड़ेगी ट्रेन.》》
यह लेटेस्ट टेक्नोलॉजी का एक अनूखा उदाहरण है. जिस दिन ट्रेन रियासी पहुंचेगी वह जिले के लिए एक गेम-चेंजिंग दिन होगा. यह हमारे लिए गर्व का पल है, क्योंकि हमारे इंजीनियरों ने एक अजूबा बनाया है. यह दुनिया का आठवां अजूबा है. पुल, हवा की गति और इसकी ताकत अद्भुत है. उन्होंने आगे बताया कि ट्रेन सेवा शुरू होने की सटीक तारीख नहीं बताई जा सकती, लेकिन मुझे उम्मीद है कि वह दिन जल्द ही आएगा.
“प्रधानमंत्री मोदी 14,000 करोड़ रुपये की लागत से बने चिनाब पुल का उद्घाटन करेंगे”
●》अधिकारियों ने किया व्यापक निरीक्षण.》》
रेलवे के अधिकारियों ने हाल ही में संगलदान और रियासी के बीच नवनिर्मित रेलवे लाइन और स्टेशनों का व्यापक निरीक्षण किया. कोंकण रेलवे के डिप्टी चीफ इंजीनियर सुजय कुमार ने कहा कि यह प्रोजेक्ट बहुत चुनौतीपूर्ण था. उधमपुर-श्रीनगर-बारामुल्ला रेल लिंक (USBRL) प्रोजेक्ट इस साल के अंत तक पूरा हो जाएगा. बता दें कि प्रधानमंत्री मोदी ने इसी साल 20 फरवरी को 48.1 किलोमीटर लंबे बनिहाल-संगलदान खंड सहित USBRL प्रोजेक्ट का उद्घाटन किया था.
●》एफिल टॉवर से भी ऊंचा है चिनाब रेलवे पुल.》》
जम्मू और कश्मीर में चिनाब नदी के ऊपर 359 मीटर (लगभग 109 फीट) की ऊंचाई पर बना चिनाब रेल ब्रिज, एफिल टॉवर से लगभग 35 मीटर ऊंचा है. इस पुल में एक शानदार स्टील आर्च डिज़ाइन है, जिसकी कुल लंबाई 1,315 मीटर (4,314 फीट) है. इस आर्च की लंबाई 467 मीटर (1,532 फीट) है. यह एक सिंगल-ट्रैक रेलवे लाइन है, जो कश्मीर घाटी को बाकी भारतीय रेलवे नेटवर्क से जोड़ती है.
●》रामबन से रियासी को जोड़ेगा पुल.》》
चिनाब रेलवे ब्रिज के ज़रिए ट्रेन सेवा रामबन से रियासी तक होगी. मौजूदा समय में ट्रेन कन्याकुमारी से कटरा तक रेलवे लाइन पर चलती हैं, जबकि कश्मीर घाटी में बारामुल्ला से संगलदान तक सेवाएँ चलती हैं.
●》जानिये विस्तार से चिनाब रेल्वे पुल परियोजना.》》
• यह मेहराबदार पुल जम्मू और कश्मीर के रियासी जिले में बक्कल और कौरी के बीच बना है, तथा कटरा से बनिहाल तक एक महत्वपूर्ण संपर्क बनाता है.
• यह नदी तल से 1,178 फीट की ऊंचाई पर स्थित है, जो इसे पेरिस के पर्यटक प्रतीक, एफिल टॉवर से 35 मीटर ऊंचा बनाता है.
• यह पुल 35000 करोड़ रुपये की उधमपुर-श्रीनगर-बारामुल्ला रेलवे लिंक (यूएसबीआरएल) परियोजना का हिस्सा है, जिसका उद्देश्य जटिल स्थलाकृति और मौसम की स्थिति में कनेक्टिविटी प्रदान करके जम्मू और कश्मीर में कनेक्टिविटी को बढ़ावा देना है.
• हालाँकि, चिनाब पुल की लागत अकेले लगभग 14,000 करोड़ रुपये है.
• भारतीय रेलवे द्वारा जारी एक वीडियो के अनुसार, चिनाब पुल एक भारत श्रेष्ठ भारत की महत्वाकांक्षी परियोजना के अंतर्गत आता है जिसका उद्देश्य कश्मीर को देश के अन्य राज्यों से जोड़ना है.
• विश्व के सबसे ऊंचे पुल की स्थिरता और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए किए जाने वाले परीक्षणों में उच्च-वेग वाली हवा का परीक्षण, अत्यधिक तापमान परीक्षण, भूकंप-प्रवण परीक्षण और जल स्तर में वृद्धि के कारण हाइड्रोलॉजिकल प्रभाव शामिल.
• इस पुल की आयु लगभग 120 वर्ष होने की उम्मीद है.
• यह 260 किमी प्रति घंटे की गति वाली हवाओं का भी सामना करने में सक्षम होगा.
• उत्तरी रेलवे द्वारा पोस्ट किए गए एक अन्य वीडियो के अनुसार, पुल की पहुंच सड़क 2015 किलोमीटर लंबी है और इसे भूकंपरोधी बनाया गया है.
• पुल के आर्च को बनाने में इंजीनियरों को तीन साल लगे हैं.इसके लिए दो विशाल केबल क्रेनों की मदद ली गई है. क्रेनों को चेनाब के दोनों किनारों, कौरी छोर और बक्कल छोर पर लगाया गया है.
• भारतीय रेलवे के वीडियो में कहा गया है कि यह रेलवे लाइन भौगोलिक दृष्टि से महत्वपूर्ण इस क्षेत्र में तैनात सशस्त्र बलों के लिए भी उपयोगी साबित होगी और पर्यटन को भी बढ़ावा देने में मदद करेगी.
• जम्मू और कश्मीर के लोगों के लिए यह पुल दो दशकों के लंबे इंतजार के बाद आया है, क्योंकि 2003 में पहली बार मंजूरी मिलने के बाद से इस परियोजना की कई समय सीमाएं पूरी नहीं हो पाई थीं.
• उधमपुर-श्रीनगर-बारामूला रेल लिंक परियोजना के पूरी तरह चालू हो जाने के बाद जम्मू और श्रीनगर के बीच वंदे भारत मेट्रो ट्रेन चलेगी.
●》चिनाब रेलवे पुल परियोजना की स्थिति.》》
- दिसंबर 2004: परियोजना को मंजूरी दी गई.
- फरवरी 2008: निर्माण के लिए अनुबंध दिया गया.
- सितम्बर 2008: सुरक्षा संबंधी चिंता के कारण परियोजना रोक दी गई।
- अगस्त 2010: निर्माण पुनः शुरू हुआ.
- जुलाई 2017: पुल पर निर्माण कार्य पुनः शुरू हुआ।
- नवंबर 2017: पुल के आर्च का कार्य मई 2019 तक पूरा होने की उम्मीद है।
- नवंबर 2018: पुल अब सक्रिय निर्माण के अधीन है।
- दिसंबर 2018: इस परियोजना के 2019 के अंत तक पूरा होने की उम्मीद थी, लेकिन इस समय, यह असंभव लगता है।
- अगस्त 2019: पुल पर 80% निर्माण कार्य पूरा हो चुका है, और 2020 के मध्य में इसके खुलने की उम्मीद है।
- नवंबर 2019: पुल पर 83% काम पूरा हो चुका है, और अब मार्च 2021 में इसके खुलने की उम्मीद है।
- जनवरी 2020: अब इसे दिसंबर 2021 में खोले जाने की उम्मीद है।
- अप्रैल 2021: पुल के आर्च के दोनों सिरों पर काम आखिरकार पूरा हो गया है। अब इसे 2022 में खोले जाने की उम्मीद है।
- जून 2022: लगभग 90% निर्माण कार्य पूरा हो चुका है, और अब दिसंबर 2022 तक पुल को चालू करने की पुष्टि हो गई है।
- अगस्त 2022: पुल के अंतिम जोड़ पर शेष कार्य पूरा हो गया, और 13 अगस्त 2022 को इसका उद्घाटन किया गया।
- फ़रवरी 2023: पुल पर ट्रैक बिछाने का काम शुरू होगा.
- मार्च 2023: ट्रैक बिछाने का काम पूरा हो गया है और इस पर ट्रायल रन किया गया है। जम्मू से बारामुल्ला तक पूरे मार्ग के साथ पुल के 2024 तक चालू होने की उम्मीद।